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पूरे हिंदुस्तान की निगाहें आज टीवी पर टिकी हुई है तो इस वजह का क्रेडिट हरमनप्रीत कौर को भी जाता है। सेमीफाइनल में सहवाग का अवतार लेकर हरमनप्रीत कौर ने जिस अंदाज में टीम इंडिया की एंट्री वर्ल्ड कप के फाइनल में कराई, उससे फाइनल मैच का रोमांच चार गुना बढ़ गया। इस मैच में हरप्रीत ने सिर्फ 115 गेंदों में 171 रनों की एतिहासिक पारी खेली थी।
क्या आपने कभी नोटिस किया है कि हरमनप्रीत 84 नंबर की जर्सी पहनती हैं। अगर ध्यान न दिया हो तो अब ध्यान दीजिए, जहां ज्यादातर खिलाड़ियों की जर्सी के पीछे अंधविश्वासी तर्क होते हैं वहीं हरमनप्रीत की जर्सी अपने आप उनकी बोल्डनेस को दर्शाती है।
दरअसल हरमनप्रीत की जर्सी के पीछे लिखा 84 नंबर, साल 1984 में हुए सिख दंगों से जुड़ा हुआ है। हरमनप्रीत कौर की जर्सी पर लिखा 84 नंबर सिख दंगों के के पीड़ितों की एक जुटता को प्रदर्शित करता है। हरमनप्रीत सिख दंगों पर खुलकर बोलने से गुरेज नहीं करती हैं। हरप्रीत अपनी पारी को भी सिख दंगों के पीड़ितों को समर्पित कर चुकी हैं।