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चाय की चुस्की का चस्का जिसे लगा, उसे सिर्फ चाय पीने का बहाना चाहिए होता है। बहुत गर्मी है तो चाय की दुकान पर सुस्ताने के बहाने जाते हैं और चाय पीते-पीते गर्मी पर चर्चा करते हैं। सर्दी के मौसम में एक सच्चा चाय प्रेमी, सुबह उठने के बाद, नहाने से पहले, नाश्ते के साथ, खाने के बाद, शाम की चाय, थकान की चाय और सोने से पहले चाय पीता है। बारिश का मौसम हो तो चाय पीना संविधानिक अधिकार जैसा हो जाता है। बाकी के मौसमों में भी ऐसा ही हाल चाय प्रेमियों का रहता है। इस बात को सिर्फ वो समझ सकता है जो चाय पीता है और वो भी सुड़की ले लेकर।
विदेश से लोग आते हैं और थोड़े दिन रह लेते हैं, तो वो भी चाय सुट्टे की दुकान पर नजर आने लगते हैं। अमेरिका से Brook Eddy नाम की महिला आईं थी, उनके जुबान पर भी चाय का स्वाद ऐसा लगा कि अमेरिका जाकर, वो वहां हिंदुस्तानी चाय को ढूंढने लगी। तब उन्हें अमेरिका में रह रहे हिंदुस्तानियों का दर्द समझ में आया और भक्ति चाय नाम की कंपनी खोल ली। 2007 में उन्होंने अपनी कंपनी खोली थी, और 2018 में उनकी कंपनी का राजस्व सात मिलियन डॉलर पहुंच गया।
एक मैगजीन से बात करते हुए उन्होंने बताया था कि साल 2002 में भारत आईं थी। तब चाय पी थी, साल 2006 में उन्हें किसी ने बताया कि अमेरिका के कोलोरोडो शहर में भारतीय चाय मिलती है। वहां पहुंची तो वो स्वाद नहीं मिला जिसकी ललक में गईं थी। अब तो लालसा और बढ़ गई, तब फैसला किया कि क्यों न अमेरिका में भारत के स्वाद वाली चाय बेची जाए।
शुरुआत में ब्रूक ने अपनी कार के पीछे ठेला जैसा जोड़कर चाय बेचना शुरू किया था लेकिन वो इतनी तेज पॉपुलर हुईं कि देखते ही देखते ठेला एक बड़ी कंपनी में बदल गया।