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अमेरिका में छोड़ी नौकरी, वापस आकर बदल दी गांव की तस्वीर

Updated Mon, 18 Dec 2017 09:25 PM IST
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Bhakti Sharma
Bhakti Sharma - फोटो : Gaon Connection
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कहते हैं, कुछ अच्छा करने के लिए नियत का अच्छा होना जरूरी होता है। मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल के एक ग्राम पंचायत की सरपंच की कुछ ऐसी ही कहानी है। अमेरिका के टेक्सास में नौकरी छोड़ भक्ति शर्मा अपने गांव वापस आ गई। बाहर विदेश में रह कर एनआरआई जैसी लक्जरी जिंदगी जीने के बजाय भक्ति ने गांव में रहने का फैसला इसलिए किया क्योंकि गांव के लिए कुछ करना चाहती थीं। और उनके गांव की तस्वीर देखने के बाद ये कह सकते हैं कि वो अपने फैसले को सही साबित कर रही हैं। 

भक्ति शर्मा का नाम देश की 100 सबसे लोकप्रिय महिलाओं में शामिल हो चुका है। भक्ति, भोपाल से 20 किलोमीटर दूर बुरखेड़ा अब्दुल्ला गांव की सरपंच हैं। अमेरिका में नौकरी छोड़कर जब वो अपने गांव वापिस आई तो लोगों के माथे पर प्रश्नचिह्न को पढ़ लिया करती थीं लेकिन कभी जवाब नहीं दिया। फिर ग्राम पंचायत के चुनावों में भागीदारी निभाई और चुनाव जीतकर सबका जवाब दिया। वो कहती हैं कि इस गांव की बेटी होने के नाते इसे बेहतरी से समझती हूं और उसी पर काम करती हूं। 

भक्ति के गांव में हर बेटी के जन्म पर 10 पौधे लगाने की प्रथा है, जिसकी शुरुआत भक्ति ने ही कराई थी। इनके गांव में एक भी बच्चा कुपोषण का शिकार नहीं है। इस पंचायत में आर्दश आंगनबाड़ी है तो वहीं हर गली में सोलर लाइटें लगी हुई हैं। गांव कनेक्शन वेब पोर्टल से बात करते हुए भक्ति ने बताया कि हमारी ग्राम पंचायत में हर किसान को मुआवजा मिला। हर ग्रामीण के पास राशनकार्ड है, उनका अपना बैंक अकाउंट है, साथ ही मृदा स्वास्थ्य कार्ड भी बनवाया जा चुका है। भक्ति बताती हैं कि गांव में हर महीने फ्री में हेल्थ कैम्प लगवाया जाता है। 

भक्ति का कहना है कि यहां कोई काम अलग से नहीं हुआ बल्कि हर सरकारी योजना को जनता तक पहुचांया गया है। वो कहती हैं कि पहले हमारे गांव में सिर्फ 9 शौचालय थे और आज गांव ओडीएफ हो चुका है। भक्ति के पास जब भी वक्त होता है वो अपने गांव के बच्चों और महिलाओं को पढ़ाती हैं। भक्ति का कहना है कि एक सामुदायिक भवन तैयार हो गया है, जल्द ही उसमें डिजि़टल क्लासेज चलेंगी, जहां गांव की महिलाओं को सिलाई की ट्रेनिंग दी जाएगी। पुरुषों के लिए आधुनिक तकनीक के गुर सिखाए जाएंगे। तैयारी है कि सामुदायिक भवन को सोलर एनर्जी से चलाया जाए।  

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