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इस आतंकी को छोड़ना भारत को पड़ा महंगा, झेलना पड़ा पठानकोट का हमला

Updated Thu, 14 Jan 2016 04:28 PM IST
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विस्तार

हाल ही में भारत के पठानकोट में हुए आतंकी हमले के मास्टरमाइंड माने जा रहे जैश-ए-मोहम्मद के सरगना मसूद अजहर को पाकिस्तान के बहावलपुर से गिरफ्तार कर लिया गया। मसूद अजहर, उसका भाई रउफ असगर सहित 12 लोगों को हिरासत में लिया गया है। अजहर की भारत से दुश्मनी नई नहीं है...आइए जानते है कौन है ये अजहर और भारत से क्या है इसकी दुश्मनी।

कौन है मसूद अजहरhqdefault

मसूद अजहर वही आतंकी है, जिसे 1999 में हाईजैक हुए इंडियन एयरलाइन्स के प्लेन को छुड़ाने के लिए अफगानिस्तान के कंधार ले जाकर रिहा किया गया था। पाकिस्तान स्थित आतंकवादी संगठन हरकत उल मुजाहिदीन के आतंकियो ने 178 पैसेंजरों के बदले मसूद समेत 3 आतंकियो की रिहाई मांगी थी।  भारत सरकार ने इसे 1994 में जम्मू-कश्मीर से आतंकी गतिविधियों में शामिल होने के लिए पकड़ा था।

क्या था कंधार हाईजैक मामला...o-KANDAHAR-HIJACK-facebook

24 दिसंबर, 1999 को पांच हथियारबंद आतंकवादियों ने 178 पैसेंजरों के साथ इंडियन एयरलाइन्स के आईसी-814 प्लेन को काठमांडू से हाईजैक किया था। हाईजैक करने के बाद प्लेन को अमृतसर, लाहौर और दुबई के रास्ते अफगानिस्तान के कंधार एयरपोर्ट ले जाया गया था। दुबई में कुछ पैसेंजरों को छोड़ दिया गया। 25 साल के भारतीय नागरिक रूपिन कत्याल की लाश को आतंकियों ने प्लेन से बाहर फेंक दिया था। आतंकियों ने भारत के सामने 178 पैसेंजरों की हिफाजत के बदले तीन आतंकियों की रिहाई का सौदा किया। 0,,16240688_303,00अपहर्ताओं ने शुरू में भारतीय जेलों में कैद 35 इस्लामी उग्रवादियों की रिहाई और 200 मिलियन अमेरिकी डॉलर नगद की मांग की थी, लेकिन भारतीय वार्ताकार उनकी मांग को तीन कैदियों की रिहाई तक कम करने के लिए अपहर्ताओं को मनाने में कामयाब रहे। उस वक्त की अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार ने पैसेंजरों की जान बचाने के लिए तीनों आतंकियों को छोड़ने का फैसला किया। भारत की जेलों में बंद आतंकी मौलाना मसूद अजहर, मुश्ताक अहमद जरगर और अहमद उमर सईद शेख को कंधार ले जाया गया था। इसी मसूद अजहर ने 2000 में आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद बनाया था। अपहरण का यह सिलसिला सात दिनों तक चला और भारत द्वारा तीन इस्लामी आतंकवादियों - मुश्ताक अहमद जरगर, अहमद उमर सईद शेख (जिसे बाद में डैनियल पर्ल की हत्या के लिए गिरफ्तार कर लिया गया) और मौलाना मसूद अजहर (जिसने बाद में जैश-ए-मुहम्मद की स्थापना की) को रिहा करने के बाद समाप्त हुआ। तीनों आतंकवादियों के कंधार में उतरने के बाद विमान पर सवार बंधकों को रिहा कर दिया गया था। 31 दिसम्बर 1999 को इंडियन एयरलाइंस फलाइट 814 के छोड़े गए बंधकों ने एक विशेष विमान पर वापस भारत के लिए उड़ान भरी।

अब कैसे पकड़ा गयाdc-Cover-20160113170855

भारत ने पठानकोट हमले में लगातार पाक को सबूत दिए। साथ ही डिप्लोमैटिक पहल जारी रखी। उधर अमेरिकी संसद ने भी पाकिस्तान को एफ-16 लड़ाकू विमान और आर्थिक मदद देने पर रोक लगा दी। ऐसे में पाकिस्तान जो कार्रवाई कर रहा है वह अमेरिका को खुश करने के लिए भी है।
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