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जिस तरह अच्छी हवा, अच्छा खानपान किसी भी इंसान के सेहतमंद रहने के लिए जरूरी होता है, उसी प्रकार आपकी हंसी भी आपको स्वस्थ रखने में अहम भूमिका निभाती है। अगर आप सुबह-शाम हंसने की आदत डाल लें तो कोई भी बीमारी, चाहे मानसिक हो या शारीरिक आपके पास भी नहीं आएगी। इसीलिए हम आपके लिए कुछ ऐसे मजेदार चुटकुले लेकर आए हैं, जिन्हें पढ़ने के बाद आप हंसते-हंसते लोटपोट हो जाएंगे। तो चलिए शुरू करते हैं हंसने-
चिंटू- एक बार 'बुरा न मानो होली है!' ये कहकर किसी ने मुझ पर रंग फेंक दिया था
पिंटू- फिर तुमने क्या किया?
चिंटू- 'बुरा न मानो दिवाली है!' यह कहकर मैंने उस पर 'बम' फेंक दिया, आज पूरा मोहल्ला मुझे ढूंढ रहा है...!
संता बंता से- आपसे निवेदन है कि दिवाली की बधाई में मुझे सोनपापड़ी का डिब्बा ना दें
बंता- क्यों?
संता- अरे बाद में, मैं दूसरों को दे कर गाली खाता हूं...।
दिवाली के कुछ दिन बाद सोन पापड़ी का डिब्बा खुला
रमन ने एक एक पीस उठाया, फिर दूसरा पीस उठाया, फिर तीसरा उठाया
रमन की पत्नी ये देखकर बोली- अब बस भी करो, इतना प्यार देखके सोनपापड़ी के भी आंखों में आंसू आ जाएंगे...।
दुल्हन अपनी सास से- हनीमून पर तो लेकर नहीं गए, अपने बेटे से कहो दिवाली पर हवाई सफर करा दें।
सास अपने बेटे से- बेटा बहू को राकेट पे बैठा कर तीली लगा दे।
घोंचू- मेरे पास रॉकेट हैं, पटाखे हैं, अनार हैं, चकरी हैं, बम हैं, तुम्हारे पास क्या भला है?
पोंचू- मेरे पास...?
मेरे पास 'मा...'
...चीस है।
अगर लगा दूंगा सभी पे तो कुछ भी नहीं बचेगा...।
बेटा (मां से)- मां, दिवाली आने वाली है, इस बार मैं पटाखे इस दुकान से लूंगा
मां- नालायक, ये पटाखों की दुकान नहीं, लड़कियों का हॉस्टल है
लड़का- मुझे क्या पता? एक दिन पापा कह रहे थे कि यहां एक से एक धांसू और रंगीले पटाखे हैं...।