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बात अगर एंटीवायरस की होती है तो जहन में सबसे पहला नाम मैकेफी का आता है। साइबर कैफे वाले फ्री में पेन ड्राइव में डाल दिए करते थे, जिसे अपने घर के डेस्क टॉप में डालकर सोच लेते थे कि अब हमारा सिस्टम महफूज है। खैर... ये सब पेचीदा बात है, उसके डालने का कुछ खास फायदा नहीं होता था। लेकिन क्या आपको पता है कि दुनिया को मैकेफी एंटीवायरस देने वाला, मैकेफी आजकल फरार चल रहा है। उसने अमेरिका की सरकार और पुलिस पर आरोप लगाए हैं कि ये लोग मेरी जान के पीछे पड़े हुए हैं और मौका मिलते ही मुझे मारा जा सकता है।
एंटीवायरस किंग मैकेफी की जिंदगी में अचानक से तूफान आ गया, एकाएक अर्श से गिरकर फर्श पर पहुंच गए। एक वक्त में मैकेफी की संपत्ति 100 मिलियन से भी ज्यादा थी, लेकिन उनकी जिंदगी में अय्याशी नाम के वायरस ने उनकी जिंदगी के सॉफ्टवेयर को चट कर डाला। 2008 के बाद लगातार उन्हें नुकसान होता चला गया।नशे और गलत आदतों की ऐसी आदत पड़ गई कि 72 साल के मैकेफी पर रेप और हत्या जैसे संगीन आरोप लग गए।
मैकेफी की जिंदगी पर फिल्म बनाई जा सकती है। बताया जाता है कि मैकेफी के पिता ने शराब पीने के बाद सुसाइड कर ली थी इसी के बाद से मैकेफी की ड्रग्स लेने की आदत पड़ी। साल 1980 में मैकेफी को ऑफिस में ही ड्रग्स लेते पकड़ा गया। इसके बाद 1983 में उस पर आरोप लगे कि उसने अपने कलीग्स को भी कोकीन की आदत डलवा दी है। इसी वक्त कंप्यूटर वायरस नाम की चीज आई। मैकेफी ने दावा किया कि वो इस वायरस को पकड़ भी सकते हैं और इसका तोड़ भी निकाल सकते हैं।
4 साल के अंदर मैकेफी दुनिया का एंटीवायरस एक्सपर्ट बन गया। 1987 में मैकेफी ने अपनी एक कंपनी खोली, जिसने सॉफ्टवेयर इंडस्ट्री में एंटीवायरस नाम की क्रांति ला दी। मैकेफी ने अपने फलसफे को बिजनेस भी अपनाया। उसमे इस एंटीवायरस को लोगों को फ्री में दिया लेकिन कस्टमर केयर के चार्जेस वसूले। मकेफी का दिल इससे भर गया तो उसने अपनी कंपनी इंटेल को करीब 300 करोड़ रुपये में बेच दी।
इंटेल से मिले अकूत पैसों को पाने के बाद मैकेफी भटक गया। उसने अय्याशी करनी शुरू की। टापूओं से लेकर पॉश इलाकों तक में प्रॉपर्टी खरीदनी शुरू की। महिलाओं की फॉलोइंग बढ़ने लगी तो सेक्स क्लब खोल डाला। नियम तोड़ना उसकी आदत में शुमार हो गया। एक बार तो उसने बिना लाइसेंस के लिए अपने एयरक्राफ्ट को उड़ा दिया, जिसमें उसके भतीजे की मौत हो गई।
साल 2008 में जॉन नॉर्थ आईलैंड पहुंच गए और अपनी एंटीबायोटिक की कंपनी शुरू कर दी। लेकिन यहां उस पर ड्रग्स को लेकर एक अजीब सी सनक सवार हो गई। वो लोगों को ड्रग्स के फायदे गिनवाने लगा। लोगों को सलाह देने लगा कि ड्रग्स लेने से जिंदगी की परेशानियों से निपटा जा सकता है। बाद में यहां भी उसकी कंपनी पर छापा पड़ गया। उसे छोड़ तो दिया गया लेकिन उसकी काफी संपत्ति को जब्त कर लिया गया।