दिल्ली पुलिस को भायी ये खास तकनीक, कर्मचारियों की कमी के बावजूद बटोरे 41 लाख से अधिक के चालान
टीम फिरकी, नई दिल्ली
Published by:
Ayush Jha
Updated Mon, 30 Dec 2019 03:44 PM IST
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ट्रैफिक चालान के कई अजीबो-गरीब किस्से के बारे में आपने जरूर सुना होगा, ट्रैफिक के नए नियमों के लागू होने के बाद 'चालान' जैसा शब्द है इन दिनों देश में डर के रूप में तब्दील हो चुका है। इस कानून के लागू होते ही चालान की रकम काफी मोटी हो गई है। पुलिस भी नए-नए जुगाड़ कर लोगों से चालान वसूल रही है।
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सड़क पर आलम तो यूं है कि खाकी वर्दी देखकर लोग अपना रास्ता बदल ले रही है और दिल्ली जैसी जगहों में ट्रैफिक पुलिस में लंबे समय से स्टाफ की कमी चल रही थी। फाइलों में भले ही राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र की ट्रैफिक व्यवस्था संभालने के लिए मुश्किल से छह हजार का स्टाफ तैनात किया गया है, लेकिन सड़क पर ड्यूटी देने वालों की बात करें, तो यह संख्या साढ़े तीन हजार के आसपास रह जाती है।
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इसके चलते ट्रैफिक उल्लंघन करने वालों पर शिकंजा कसने में दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था। रोजाना करीब छह हजार चालान ही हो पा रहे थे, जबकि ट्रैफिक नियम तोड़ने वालों की संख्या इससे कई गुना ज्यादा रहती है।
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ट्रैफिक पुलिस ने इस समस्या का हल खुद ही निकाला। कई तरह के ट्रैफिक उल्लंघनों पर नजर रखने के लिए विभिन्न मार्गों पर कैमरे लगा दिए गए। नतीजा, 124 कैमरों ने 11 महीने में 41 लाख से अधिक चालान कर दिए। ये कैमरे रोजाना 20 से 25 हजार चालान कर रहे हैं। जल्द ही कई दूसरे मार्गों पर भी ये कैमरे लगाए जाएंगे।
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दिल्ली ट्रैफिक पुलिस ने तमाम तरह के ट्रायल के बाद कैमरे लगाए हैं। ये कैमरे धुंध और बरसात में भी काम करते हैं। खास बात ये है कि रात के समय कोई वाहन चालक लालबत्ती या तय गति सीमा का उल्लंघन करता है, तो वह भी इन कैमरों की जद में आ जाता है। पहले केवल 10 जगहों पर ये कैमरे लगाए गए थे। ट्रायल सफल रहने के बाद 124 जगहों पर कैमरे लगा दिए गए हैं। इन कैमरों की मदद से हाई स्पीड में चलने वाली गाड़ियों, जेब्रा क्रासिंग और रेड लाइट जंप करने वाले वाहनों को आसानी से पकड़ा जा सकता है।
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कैमरों से रिकॉड एकत्रित कर संबंधित वाहन चालक के घर पर चालान भेज दिया जाता है। दिल्ली ट्रैफिक पुलिस के विशेष आयुक्त ताज हसन के अनुसार, बीते 5 दिसंबर तक कुल 41.30 लाख चालान कैमरों की मदद से किए गए हैं। इनमें से 24 लाख 30 हजार चालान रेड लाइट जंप करने वालों के हैं। इसमें भी दो श्रेणियां हैं। पहली जेब्रा क्रॉसिंग पर गाड़ी लाने वालों की और दूसरी रेड लाइट को जंप कर चले जाने वाले की है। इन दोनों ही श्रेणियों में ये चालान किए गए हैं।
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वहीं, तेज रफ्तार से चलने वाली गाड़ियों के 17 लाख चालान किए गए हैं। फिलहाल ट्रैफिक पुलिसकर्मियों को चालान राशि जमा करने की शक्ति नहीं दी गई है। उनका कहना है कि हमारा प्रयास रहेगा कि ट्रैफिक पुलिस के जवानों को ज्यादा से ज्यादा मार्गों पर तैनात कर यातायात को सुगम तरीके से चलाया जाए। जाम कम से कम लगे। चालान के लिए अधिक से अधिक कैमरों का ही सहारा लिया जाएगा।इ सके लिए नई जगहों को चिन्हित किया जा रहा है, जहां कैमरे लगाए जाएंगे।